दशहरा के पूर्व वनांचल गांवों में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद का सेवा अभियानअखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद
September 30, 2024
कवर्धा :- (अभाविप) के कबीरधाम जिला इकाई के कार्यकर्ताओं ने दशहरा के पूर्व वनांचल ग्रामीण क्षेत्रों में सेवा कार्य करते हुए जनजाति परिवारों के हालचाल जानने और उनकी समस्याओं के समाधान की दिशा में सराहनीय प्रयास किए। अभाविप की यह पहल पर्यावरण संरक्षण के साथ-साथ समाज के अंतिम व्यक्ति को विकास की मुख्य धारा से जोड़ने के उद्देश्य से की जा रही है।अभाविप के प्रदेश सहमंत्री तुषार चन्द्रवंशी ने बताया कि हर त्यौहार से पहले अभाविप के कार्यकर्ता वनांचल क्षेत्र के जनजाति परिवारों के बीच पहुंचते हैं।
वे जरूरतमंद परिवारों को कपड़े, मिठाई और अध्ययन सामग्री भेंट करते हैं ताकि उनका त्यौहार उल्लासपूर्ण तरीके से मनाया जा सके। इस अभियान के माध्यम से शहर और गांव के बीच एक सेतु का निर्माण किया जा रहा है। शहर के समाजसेवियों का भी इस अभियान में विशेष सहयोग प्राप्त होता है, जिससे यह सेवा कार्य और भी प्रभावी हो जाता है।अभाविप के जनजाति कार्य प्रमुख सचिन धुर्वे ने कहा कि इस सेवा कार्य से जुड़ना अपने आप में एक बड़ी जिम्मेदारी है। किसी के दर्द को पहचान कर उसकी मदद करना अभाविप की नीतियों का अभिन्न हिस्सा है। परिषद की नीतियां समाज से जुड़े मुद्दों पर ध्यान देती हैं और जनकल्याण को प्राथमिकता देती हैं। सचिन धुर्वे ने इस सेवा कार्य की महत्ता पर जोर देते हुए कहा कि इस प्रकार की पहल समाज के कमजोर तबकों तक सहायता पहुंचाने और उनकी समस्याओं को उजागर करने में अहम भूमिका निभाती है।इस सेवा अभियान में अभाविप के कार्यकर्ताओं के अलावा विभिन्न व्यवसायिक बंधुओं का भी महत्वपूर्ण योगदान रहा। यह प्रयास न केवल सामाजिक समरसता को बढ़ावा देता है बल्कि स्थानीय समुदायों के प्रति जागरूकता और सहयोग की भावना को भी प्रबल करता है।सेवा कार्य की प्रमुख बातें:जनजाति परिवारों को कपड़े, मिठाई और अध्ययन सामग्री का वितरण।वनांचल ग्रामीण क्षेत्रों में जाकर जनजाति परिवारों की समस्याओं का समाधान करने का प्रयास।शहर और गांव के बीच एक सेतु के रूप में काम करना।पर्यावरण संरक्षण और समाज के अंतिम व्यक्ति तक विकास की धारा पहुंचाने का संकल्प।अभियान में समाजसेवियों और व्यवसायिक समुदाय का विशेष योगदान।अभाविप का यह सेवा कार्य न केवल वनांचल क्षेत्रों में जनजाति परिवारों की सहायता करता है, बल्कि उनके जीवन में उत्सव की खुशी लाने और समाज के विकास में उनकी भागीदारी सुनिश्चित करने का भी प्रयास है। इस पहल के माध्यम से समाज के हर वर्ग को मुख्यधारा से जोड़ने की कोशिश की जा रही है, जो कि एक आदर्श समाज निर्माण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।अभाविप की यह पहल दशहरा के अवसर पर विशेष महत्व रखती है, क्योंकि इस पर्व पर सेवा और सहयोग की भावना को विशेष रूप से महत्व दिया जाता है। परिषद की यह सेवा यात्रा जनजाति परिवारों के जीवन को बेहतर बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो रही है, जो आने वाले समय में और अधिक व्यापक रूप ले सकती है।
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