कवर्धा 16 अक्टूबर:- PG कॉलेज के समाजशास्त्र विभाग द्वारा एक दिवसीय क्षेत्रीय सेमिनार "दुष्कर्म क्यों और कब तक?" का आयोजन किया गया। इस सेमिनार का उद्देश्य महिलाओं के खिलाफ बढ़ते दुष्कर्म के मामलों पर समाज में जागरूकता फैलाना और समाधान के रास्ते तलाशना था।
कार्यक्रम का शुभारंभ समाजशास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष मुकेश कामले द्वारा स्वागत भाषण से हुआ। मुख्य अतिथि राजनांदगांव लोकसभा सांसद माननीय संतोष पांडेय ने इस गंभीर विषय पर अपने विचार साझा किए। उन्होंने कहा, "आज समाज में महिलाओं के प्रति जो अपराध हो रहे हैं, वे अत्यंत निंदनीय हैं। जिस नारी को प्राचीन काल में देवी के रूप में पूजा जाता था, वह आज असुरक्षित है। हम सबको अपने दृष्टिकोण में बदलाव लाना होगा। जब हम किसी को बहन कहते हैं, तो यह समझना जरूरी है कि वह भी किसी की बहन है। यदि यह भाव मन में जागे, तो दुष्कर्म जैसी घटनाएं रोकी जा सकती हैं।"
विशिष्ट अतिथि और वक्ताओं के विचार
विशिष्ट अतिथि जनभागीदारी अध्यक्ष रिंकेश वैष्णव ने अपने संबोधन में कहा, "यत्र नार्यस्तु पूज्यन्ते, तत्र देवता रमन्ते" यानी जहां नारी की पूजा होती है, वहां देवताओं का वास होता है। यदि इस प्रकार की सोच हर व्यक्ति के मन में हो, तो दुष्कर्म जैसी घटनाएं समाप्त हो सकती हैं।"
डॉ. प्रीति शर्मा, अध्यक्ष, समाजशास्त्र परिषद छत्तीसगढ़, ने महिलाओं की आत्मरक्षा पर बल दिया। उन्होंने सुझाव दिया कि नारी शक्ति के भीतर छिपी आत्म-सुरक्षा की क्षमता को जागृत करने के लिए आत्मरक्षा शिविर और शस्त्र प्रशिक्षण जैसे कार्यक्रम आयोजित किए जाने चाहिए।
वक्ता अभिषेक पांडेय ने समाज में व्याप्त चुप्पी पर सवाल उठाते हुए कहा कि जब कोई अपराधी किसी महिला का दुष्कर्म करता है, तो समाज की निष्क्रियता से अपराधियों का मनोबल बढ़ता है। उन्होंने कानूनी व्यवस्था में कठोर सुधार की आवश्यकता पर जोर दिया ताकि अपराधियों को सख्त सजा दी जा सके।
पुस्तक विमोचन और समापन
सेमिनार के दौरान माननीय सांसद संतोष पांडेय ने कार्यक्रम की एक विशेष पुस्तक का विमोचन भी किया। इस अवसर पर भाजपा मंडल अध्यक्ष चंद्रप्रकाश चंद्रवंशी, सांसद प्रतिनिधि अजय ठाकुर, कॉलेज स्टाफ और बड़ी संख्या में विद्यार्थी